मुंबई, 27 मार्च, (न्यूज़ हेल्पलाइन)। पाकिस्तान की नेशनल डेटाबेस एंड रजिस्ट्रेशन अथॉरिटी सेंटर से 27 लाख नागरिकों का पर्सनल डेटा चोरी हो गया है। डॉन न्यूज के मुताबिक, इस चोरी का खुलासा होम मिनिस्ट्री की जॉइंट इन्वेस्टिगेशन टीम ने किया है। नेशनल डेटाबेस एंड रजिस्ट्रेशन अथॉरिटी पाकिस्तानी नागरिकों के लिए आईडेंटिटी कार्ड जारी करती है। रिपोर्ट के मुताबिक, यह डेटा पहले दुबई भेजा गया। इसके बाद इसे अर्जेंटीना और रोमानिया भेज दिया गया। सरकार इस मामले पर चुप है। जांच एजेंसी की रिपोर्ट के मुताबिक, जिन लोगों का पर्सनल डेटा चोरी हुआ है, उनमें मुल्तान, कराची और पेशावर के लोग ही ज्यादा हैं।
जियो न्यूज ने इस मामले पर होम मिनिस्ट्री के अफसरों के हवाले से रिपोर्ट पब्लिश की है। इसी मंत्रालय ने मामला सामने आने के बाद जॉइंट इन्वेस्टिगेशन टीम बनाई थी। इसमें फेडरल इन्वेस्टिगेशन एजेंसी (FIA) और होम मिनिस्ट्री के अफसर शामिल थे। इस टीम को सैयद वकारउद्दीन लीड कर रहे थे। रिपोर्ट के मुताबिक डेटा चोरी का यह खेल 2019 में शुरू हुआ और 2023 के आखिर तक जारी रहा। इस दौरान करीब 27 लाख पाकिस्तानी नागरिकों का डेटा चोरी किया गया। यह काम नादरा के अफसरों की मिलीभगत के बिना मुमकिन नहीं था। रिपोर्ट में इस बात का शक भी जताया गया है कि नादरा अपने कुछ काम आउटसोर्स करती है, लिहाजा ये माना जा सकता है कि किसी दूसरी कंपनी ने यह डेटा बेचा हो। टीम ने इस मामले पर तफ्सीली रिपोर्ट तैयार की है। इसका ज्यादातर हिस्सा सीक्रेट रखा गया है। माना जा रहा है कि आने वाले दिनों में कुछ अफसरों को एजेंसी पूछताछ के लिए बुला सकती है।