मुंबई, 14 जून, (न्यूज़ हेल्पलाइन)। कुवैत के मंगाफ में बुधवार को लगी भीषण आग में मारे गए 45 भारतीयों के शव लेकर भारतीय वायुसेना का स्पेशल एयरक्राफ्ट शुक्रवार को भारत पहुंचा। यह केरल के कोच्चि एयरपोर्ट पर लैंड हुआ, क्योंकि मृतकों में सबसे ज्यादा 23 लोग केरल के हैं। इसके बाद एयरक्राफ्ट दिल्ली के पालम एयरपोर्ट पर लैंड हुआ। जान गंवाने वाले अन्य 22 लोगों में तमिलनाडु के 7, आंध्र-उत्तर प्रदेश के 3-3 और बिहार, ओडिशा, कर्नाटक, महाराष्ट्र, झारखंड, हरियाणा, पंजाब और पश्चिम बंगाल के 1-1 लोग हैं। एक मृतक किस राज्य का है, इसकी जानकारी अब तक नहीं मिली है। वहीं इस मामले कुवैत ने अब तक 3 आरोपियों को गिरफ्तार किया है। हादसे के बाद भारत के विदेश राज्य मंत्री कीर्तिवर्धन सिंह कुवैत गए थे। उन्होंने 5 अस्पतालों का दौरा किया, जहां घायल भारतीयों का इलाज किया जा रहा है। कीर्तिवर्धन सिंह आज उसी एयरक्राफ्ट से वापस लौटे हैं, जिनसे शवों को लाया गया है।
शवों के साथ कुवैत से भारत लौटे विदेश राज्य मंत्री कीर्तिवर्धन ने कहा, मेरी संवेदनाएं उन लोगों के साथ है जिनके अपनों ने हादसे में जान गंवाई। मामले की सूचना मिलते ही PM मोदी ने उच्च-स्तरीय बैठक की। उन्होंने हमें तत्काल कुवैत जाकर भारतीयों के इलाज और शवों को देश वापस लाने की तैयारियों का मुआयना करने को कहा। कुवैत के अधिकारियों ने पूरी प्रक्रिया में हमारे साथ दिया। भारतीयों के शवों को एयरपोर्ट पर श्रद्धांजलि देने और इन्हें परिजनों को सौंपने की तैयारी की जा रही है। शव की पहचान के लिए ताबूत पर मरने वाले व्यक्ति की तस्वीर लगाई गई है। साथ ही, केरल की स्वास्थ्य मंत्री वीना जॉर्ज ने शुक्रवार (14 जून) को आरोप लगाया कि केंद्र सरकार ने उन्हें कुवैत जाने की इजाजत नहीं दी। वीना जॉर्ज ने कहा- मरने वालों और घायलों में सबसे ज्यादा लोग केरल के थे। इसके बावजूद हमें कुवैत जाने से रोका गया। यह बहुत दुर्भाग्यपूर्ण है। केरल के मंत्री के राजन ने भी इसकी आलोचना की। उन्होंने कहा, हम हादसे के बाद अपने लोगों की मदद करना चाहते थे, लेकिन केंद्र सरकार ने तकनीकी कारणों का हवाला देकर स्वास्थ्य मंत्री को कुवैत जाने से रोका।
दरअसल, कुवैत के मंगाफ शहर की एक बिल्डिंग में 12 जून को लगी आग में कुल 49 लोगों की मौत हुई थी, जबकि 50 से ज्यादा लोग घायल हैं। इनमें से 48 शवों की DNA टेस्ट के जरिए पहचान की गई, जिसमें 45 भारतीय निकले, जबकि 3 फिलिपींस के हैं। हालांकि, पहले मृतकों में नेपाल, पाकिस्तान और मिस्र के नागरिक होने की बात भी कही जा रही थी।