मुंबई, 12 सितम्बर, (न्यूज़ हेल्पलाइन)। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मंडाविया ने बताया कि केरल के कोझिकोड जिले में निपाह वायरस के कारण दो मौतें हुई थीं। स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि हमनें स्थिति का जायजा लेने और इससे निपटने में राज्य सरकार की मदद के लिए एक्सपर्ट्स की एक टीम भेजी है। साथ ही, न्यूज एजेंसी PTI के मुताबिक, केरल में निपाह वायरस से पहली मौत 30 अगस्त को हुई थी। वहीं, दूसरी मौत 11 सितंबर को हुई थी। स्वास्थ्य मंत्री ने स्थानीय स्वास्थ्य कार्यकर्ताओं को अपने क्षेत्रों में कड़ी निगरानी रखने का निर्देश दिया है। वहीं, केरल में चार अन्य लोगों के सैंपल निपाह वायरस की जांच के लिए पुणे के नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ वायरोलॉजी भेजे गए हैं। राज्य में एक कंट्रोल रूम बनाया गया और लोगों को मास्क पहनने की सलाह दी गई।
तो वहीं, केरल के मुख्यमंत्री पिनरई विजयन ने फेसबुक पर पोस्ट कर कहा कि सरकार राज्य में निपाह वायरस से हुई दो लोगों की मौत पर गंभीर है। स्वास्थ्य विभाग ने कोझिकोड में अलर्ट जारी किया है। जो लोग मृतकों के संपर्क में थे, उनके बारे में पता किया जा रहा है। अभी तक राज्य में आधिकारिक तौर पर निपाह के फैलने की घोषणा नहीं की गई है।
आपको बता दें, निपाह एक जूनोटिक वायरस है। यजूनोटिक वायरस उसे कहते हैं जो जानवरों से इंसानों या इंसानों से जानवरों में फैलते हैं। इस बीमारी की मृत्यु दर बहुत अधिक है। अब तक इसका कोई ट्रीटेमेंट या टीका उपलब्ध नहीं है। साथ ही, एक्सपर्ट्स के मुताबिक, निपाह वायरस सिर्फ जानवरों से नहीं बल्कि एक संक्रमित व्यक्ति से दूसरे व्यक्ति में भी फैलता है। निपाह वायरस से संक्रमित होने वाले मरीज में वायरल फीवर होने के साथ सिरदर्द, उल्टी जैसा लगना, सांस लेने में तकलीफ और चक्कर आने जैसे लक्षण दिखते हैं। अगर ये लक्षण 1-2 हफ्ते तक रहते हैं तो डॉक्टर से संपर्क करें।