मुंबई, 11 जुलाई, (न्यूज़ हेल्पलाइन)। भारत के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार (NSA) अजीत डोभाल ने कहा कि हिंदुस्तान में कोई धर्म खतरे में नहीं है। भारत में सभी को बराबर का हक है। भारत उन संस्कृतियों और धर्मों का मिश्रण रहा है जो सदियों से सद्भाव से रह रही हैं। डोभाल दिल्ली के इंडिया इस्लामिक कल्चरल सेंटर में एक कार्यक्रम में बोल रहे थे। साथ ही कार्यक्रम में मुस्लिम वर्ल्ड लीग के महासचिव शेख डॉ. मोहम्मद बिन अब्दुलकरीम अल-इस्सा ने कहा कि भारतीय समाज में मुस्लिमों को अपनी राष्ट्रीयता पर गर्व है कि वे भारतीय नागरिक हैं। उन्हें अपने संविधान पर भी गर्व है। हमने भारतीय ज्ञान के बारे में बहुत कुछ सुना है। हम जानते हैं कि भारतीय ज्ञान ने मानवता के लिए बहुत योगदान दिया है।
डोभाल ने कहा, भारत और सऊदी अरब के बीच संबंध सांस्कृतिक विरासत, सामान्य मूल्यों और आर्थिक संबंधों के चलते बने हुए हैं। कार्यक्रम में मुस्लिम वर्ल्ड लीग के महासचिव शेख डॉ मोहम्मद बिन अब्दुलकरीम अल-इस्सा भी शामिल हुए। डोभाल ने उन्हें उदारवादी इस्लाम की ग्लोबल आवाज और विद्वान बताया। डोभाल ने कहा कि भारत दुनिया में दूसरी और सबसे बड़ी मुस्लिम आबादी का घर है। भारतीय मुस्लिम आबादी इस्लामिक सहयोग संगठन के 33 से अधिक सदस्य देशों की संयुक्त आबादी के लगभग बराबर है। उन्होंने कहा कि हिंदू धर्म और इस्लाम की गहरी आध्यात्मिक सामग्री लोगों को एक साथ लाई है। उन्होंने कहा कि ये कोई संयोग नहीं है कि लगभग 20 करोड़ मुस्लिम होने के बावजूद वैश्विक आतंकवाद में भारतीय नागरिकों की भागीदारी अविश्वसनीय रूप से कम रही है।
डोभाल ने आगे कहा कि भारत कई दशकों से आतंकवाद का शिकार रहा है। देश ने 2008 (मुंबई हमले) सहित कई आतंकवादी हमलों का सामना किया है। भारत अपने सुरक्षा तंत्र को मजबूत करने और आतंकवादी गतिविधियों को रोकने के लिए अन्य देशों के साथ सहयोग करने सहित विभिन्न माध्यमों से आतंकवाद से लड़ने के लिए सक्रिय रूप से काम कर रहा है। उन्होंने कहा, देश में धार्मिक समूहों के बीच इस्लाम महत्वपूर्ण गौरव का स्थान रखता है। भारत सभी मसलों के हल के लिए सहनशीलता, बातचीत और सहयोग को बढ़ावा देता है। भारत दुनिया का सबसे बड़ी डेमोक्रेसी, मदर ऑफ डेमोक्रेसी होने के साथ डायवर्सिटी की भूमि है।